जिंदगी

एहसास भी है ज़िन्दगी
अटूट उच्छवास (गहरी साँस)भी है जिंदगी
ज़रा सी नज़र जो चूकी
तो पानी मे फिसले पांव सी है जिंदगी

आशा भी है जिंदगी
अभिलाषा भी है जिंदगी
गर बालुओं से जो रस्सी बन पाए
तो फिर उस अथक प्रयास सी भी है जिंदगी

इठलाती भोर सी है जिंदगी
ढलती सांझ सी है जिंदगी
हाथ थामे रखे जो फिसलन भरे सफर में
उस शख्स की पहचान भी है जिंदगी

सुरखाब भी है जिंदगी
आफताब भी है जिंदगी
खुले अधरों को जो सी जाए
वो महताब भी है जिंदगी

दरिया भी है जिंदगी
किनारा भी है जिंदगी
और जो ख्वाबों को मौजूँ बनाये
वो मुसलसल प्रयास भी है ज़िन्दगी

दरख़्त भी है जिंदगी
दरारें भी है जिंदगी
और मन के तारों को जहां सुकूँ मिल जाये
वो बरगद की छांव सी है जिंदगी

विश्वास भी है जिंदगी
नित नूतन उल्लास भी है जिंदगी
और जो गाहे बगाहे होंठों को मुस्काये
वो अनंत मुस्कान भी है जिंदगी

निश्छल आस भी है जिंदगी
अंतिम सांस भी है जिंदगी
और ज़िन्दगी के इस सफर को जो मौजूँ बनाये
वो अल्फ़ाज़ भी है जिंदगी

अनंत विश्वास भी है जिंदगी
और कुछ कर गुजरने का एहसास भी है जिंदगी
अल्फ़ाज़ भी है जिंदगी ,और
नित नूतन सांस भी है जिंदगी
नित नूतन सांस भी है जिंदगी

हार्दिक आभार संग🙏
डॉ. वैभव

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